What is the TCP/IP Model in hindi || Layers and Protocols Explained | TCP/IP मॉडल
Post By: Co- Founder, Vinay Kumar Verma
आज के इस पोस्ट में हम पढेंगे TCP/IP मॉडल क्या हैं और कैसे कार्य करता हैं तो चलिए इस पोस्ट को जल्दी से पढ़ते हैं
TCP/IP मॉडल (Transmission Control Protocol/Internet Protocol) एक ऐसा network मॉडल है जो इंटरनेट और अन्य network में डेटा transmission के लिए मानक प्रोटोकॉल प्रदान करता है
यह मॉडल four layer में विभाजित है, जो डेटा को स्रोत से गंतव्य तक पहुंचाने के लिए अलग-अलग कार्य करती हैं।
TCP/IP मॉडल end-to-end communication प्रदान करता है, इसको 1970 तथा 1980 के दशक के मध्य Department of Defense (D.O.D.) ने develop किया था
TCP/IP मॉडल की layer:
Application Layer (एप्लिकेशन layer):
यह परत उपयोगकर्ता और नेटवर्क के बीच interface प्रदान करती है। इसमें विभिन्न प्रोटोकॉल जैसे HTTP, FTP, SMTP, एवं DNS शामिल हैं। यह परत डेटा को उपयोगकर्ता-समर्थित फॉर्मेट में करती है।
HTTP और HTTPS:- HTTP का पूरा नाम हैं hypertext transfer protocol है जिसके द्वारा हम internet में data को access कर सकते हैं यह data को text, audio, video के रूप में ट्रान्सफर करता है, HTTPS का पूरा नाम नाम HTTP-secure है. जब हम http के साथ ssl का प्रयोग करते है तो वह https हो जाता है
SNMP – इसका पूरा नाम simple network management protocol है यह एक फ्रेमवर्क है, जिसका प्रयोग internet में device को manage करने के लिए किया जाता है,
SMTP – इसका पूरा नाम simple mail transfer protocol है, जिसका प्रयोग एक e-mail से दूसरे e-mail address में data को भेजने करने के लिए किया जाता है.
DNS – इसका पूरा नाम domain name system है, इसका प्रयोग ip address को map करने के लिए किया जाता है
SSH – इसका पूरा नाम secure Shell है, इसका प्रयोग encryption के लिए किया जाता है,
मुख्य कार्य:
- डेटा प्रबंधन और प्रस्तुति।
- उपयोगकर्ता को service प्रदान करना।
Transport Layer (ट्रांसपोर्ट layer):
यह परत स्रोत और गंतव्य के बीच डेटा ट्रांसमिशन की विश्वसनीयता सुनिश्चित करती है। इसमें दो प्रमुख प्रोटोकॉल हैं:
TCP (Transmission Control Protocol): डेटा की विश्वसनीय और क्रमबद्ध डिलीवरी।
UDP (User Datagram Protocol): तेज़ लेकिन कम विश्वसनीय डेटा ट्रांसमिशन।
मुख्य कार्य:
- डेटा को छोटे-छोटे पैकेट्स में विभाजित करना।
- पैकेट्स को सही क्रम में डिलीवर करना।
Internet Layer (इंटरनेट layer):
यह layer नेटवर्क के बीच डेटा रूटिंग और पैकेट्स को सही गंतव्य तक पहुंचाने का काम करती है। इसका मुख्य प्रोटोकॉल IP (Internet Protocol) है
मुख्य कार्य:
- डेटा पैकेट्स का रूटिंग और एड्रेसिंग।
- डेटा ट्रांसमिशन के लिए उचित पथ का चयन।
Network Access Layer (नेटवर्क एक्सेस परत):
यह परत हार्डवेयर और नेटवर्क के बीच डेटा ट्रांसमिशन के लिए जिम्मेदार है। यह डेटा को फिजिकल माध्यम (like, केबल्स या वायरलेस) पर भेजती है।
मुख्य कार्य:
- डेटा लिंक और physical layer को मैनेज करना।
- नेटवर्क हार्डवेयर (जैसे, NIC) के साथ संवाद।
TCP/IP मॉडल और OSI मॉडल का अंतर:
TCP/IP मॉडल में 4 परतें होती हैं, जबकि OSI मॉडल में 7 परतें होती हैं। TCP/IP मॉडल सरल और प्रैक्टिकल है और इसे इंटरनेट पर व्यापक रूप से उपयोग किया जाता है।
TCP/IP मॉडल का उपयोग:
- इंटरनेट पर डेटा ट्रांसमिशन।
- कंप्यूटर नेटवर्किंग।
- क्लाउड सर्विसेस।
चित्रण:
(TCP/IP मॉडल को समझाने के लिए चार परतों का एक साधारण आरेख बनाएं, जिसमें हर परत के कार्य और संबंधित प्रोटोकॉल दर्शाए जाएं।)
➤➤Central Processing Unit (C.P.U) क्या है
I Hope है ये Post आपको पसन्द आयेगी अगर आपको ये Post पसन्द आये तो अपने Friend के साथ social
media पर Share जरुर करना ताकी आपकी Help से दुसरे भी इस Post को पढ़ सके तो मेरे Facebook पेज को Like करे Share करे Comment भी करे धन्यवाद